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राजस्थान में ठंड का कमबैक: किसानों को हो रहा नुकसान

Rajendra Suthar, March 5, 2024March 6, 2024

राजस्थान, भारत का राज्य है जो अपनी रेगिस्तानी धरती और ताजमहल की शान से जाना जाता है, अक्सर अपनी गर्मी के लिए जाना जाता है। हालांकि, इस बार मार्च महीने में राजस्थान ने अपनी ठंडी हवाओं के कमबैक की खबरें सुनाई।

राजस्थान में मार्च में हवाओं का धीरे-धीरे सर्द होना अजीब नहीं है। यह शायद वह संकेत है जो कहता है कि मौसम की परिवर्तन की दिशा में दुनिया का समय बदल रहा है। ग्लोबल वार्मिंग के चलते मौसम की अनियमितता और असामान्य परिवर्तन का एक अच्छा उदाहरण हो सकता है।

राजस्थान के तापमान में दिन-प्रतिदिन उतार-चढ़ाव का दौर जारी है मार्च महीने में भी अधिक सर्दी का दौर बन रहा है उत्तरी सर्द हवाओ से मौसम में नमी के कारण सर्दी का अहसास अधिक हो रहा है राजस्थान में पश्चीमी विक्षोभ का असर काफी हद तक खत्म हो गया है और बारिश का दोर भी कम हो गया है लेकिन सर्द हवाओ के कारण अभी भी ठण्ड महसूस की जा रही है। मौसम विभाग की मानें तो फतेहपुर के अलावा राजस्थान के हिल स्टेशन माउंट आबू में भी ठंड ने लोगों को जबरदस्त तरीके से परेशान कर रखा है। फिलहाल आज पूरे प्रदेश मौसम साफ बना हुआ है।

राजस्थान ने अपनी असामान्य हवाओं के कारण लोगों को सर्दी की अचानक ठंड में डाल दिया। इसे देखते हुए, लोगों को अपने तैयारी में बदलाव करने की आवश्यकता हो सकती है। यह सुनिश्चित करने के लिए कि वे अपनी स्वास्थ्य को सुरक्षित रख सकें, वे अधिक गर्म कपड़ों को अपने अलमारी से निकाल सकते हैं, और अपने घरों को ठंड से बचाने के लिए उपाय अपना सकते हैं।

इसलिए, राजस्थान में ठंड का कमबैक और मार्च में भी सर्द हवाओं के साथ, हमें ध्यान देने की जरूरत है कि मौसम की परिवर्तन को ध्यान में रखते हुए हम अपने आप को तैयार करें, और अपने समुदाय के साथ मिलकर इस परिवर्तन का सामना करे।

फसलों को भारी नुकसान

मौसम विभाग की तरफ से किसी भी तरह की चेतावनी जारी नहीं की गई है बीते एक दो मार्च को राजस्थान के कई हिस्सों में भारी बारिश, ओलावृष्टि और आंधी के चलते जानमाल का नुकसान हुआ था. दर्जनों मवेशियों समेत आधा दर्जन से ज्यादा लोगों की जान चली गई थी। फसलों को भी भयंकर नुकसान पहुंचा था।

राजस्थान, हरियाणा, उत्तर प्रदेश एवं पंजाब में जहां सरसों की फसल की कटाई चल रही है, वहीं चना की फसल भी लगभग तैयार है। गेहूं में दाने पड़ने शुरू हो गए है। इन राज्यों के कई जिलों में तेज बारिश के साथ ओलावृष्टि एवं हवा चलने से फसलों को नुकसान हुआ है।

चूरू कृषि विभाग के संयुक्त निदेशक डॉ अजीत सिंह ने बताया कि जिले में इस समय रबी की फसलें गेंहू, जौ, सरसों, चना तारामीरा समेत अन्य सभी फसलें सामान्य स्थिति में हुई है। मौसम की कुछ विपरीत परिस्थितियों में फसलों में नुकसान होने की संभावना बढ़ जाती है जो पैदावार को काफी हद तक प्रभावित कर सकता है। पिछले वर्ष तेज सर्दी के कारण, सरसों, गेंहू, जौ, इसबगोल आदि फसलों में काफी नुकसान हुआ था किसानों को चाहिए कि वह फसलों को मौसम की इस प्रतिकूल परिस्थिति से बचने के लिए अपने खेत में कुछ उपाए करें, जिससे पाले व शीतलहर से होने वाले नुकसान को कम किया जा सके।

सरसों की फसल में पाले व शीतलहर की वजह से फली में दोने फटने व सिकुड़ने की समस्या आती है। जिससे उपज काफी कम हो जाती है। चने की फसल में पाले व शीतलहर की वजह से फसल जल जाती है व फसल की वानस्पतिक वृद्धि प्रभावित होती है। जौ की फसल में भी पाले की वजह से वानस्पतिक वद्धि पर प्रभाव पड़ता है।

भारतीय मौसम विभाग के अनुसार पश्चिमी हिमालय क्षेत्र में मध्यम से भारी बारिश और बर्फबारी हुई है। पंजाब, हरियाणा और उत्तरी राजस्थान के कुछ हिस्सों में ओलावृष्टि के साथ हल्की से मध्यम बारिश हुई। राजस्थान, हरियाणा और पंजाब के कई क्षेत्रों में हुई भयंकर ओलावृष्टि से रबी की फसल को भारी नुकसान हुआ है। सरकार का कोई भी मुआवजा इस नुकसान की भरपाई तो नही कर सकता पर थोड़ी राहत दे सकता हैं। प्रशासन को जल्द से जल्द सर्वे करा कर नुकसान का सही आकलन करके किसानों को उनके हक का मुआवजा देना चाहिए।

बारिश पर मौसम विभाग ने क्या कहा

जयपुर मौसम विभाग के केन्द्र के अनुसार जोधपुर, बीकानेर संभाग में बादल छाए रहने और कहीं-कहीं बादल गरजने के साथ हल्की बारिश होने की संभावना है। वहीं 3 मार्च से राज्य के अधिकांश भागों से विक्षोभ का असर खत्म होने और आगामी एक सप्ताह के लिए मौसम मुख्यतः शुष्क रहने की संभावना है। राजस्थान में अलग-अलग जगहों पर आकाशीय बिजली की चपेट में आने से शुक्रवार को सात लोगों की मौत हो गई और दो लोग झुलस गये। मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा ने मृतकों के परिजनों को पांच-पांच लाख रुपए की आर्थिक सहायता प्रदान करने के निर्देश दिए हैं। उन्होंने घायलों को समुचित सहायता और इलाज उपलब्ध कराने के निर्देश दिए हैं। इसके साथ ही राज्य सरकार ने फसलों को हुए नुकसान का आकलन करवाने की घोषणा की है।

तापमान में कोई विशेष परिवर्तन होने के आसार नहीं

राजस्थान में दो दिनों से मौसम में लगातार परिवर्तन बारिश, ओलो के बाद सोमवार से थोड़ी राहत मिली है सोमवार और मंगलवार को अधिकांश स्थानो पर मौसम साफ़ रहा आगामी दो दिनों तक तापमान में कोई विशेष परिवर्तन के आसार नहीं है।

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