क्या जीरा इस बार जाएगा 30000 पार, जानिये आने वाले दिनों में कैसा रहेगा बाजार Rajendra Suthar, January 6, 2025January 6, 2025 किसान साथियों नए साल के प्रारम्भ से तापमान में उत्तार चढ़ाव देखने को मिल रहा है, ठीक उसी प्रकार अगर जीरे के भाव की बात करें तो जीरे के भाव में भी उत्तार-चढ़ाव देखने को मिल रहा है। वर्तमान में जीरे के भाव में कोई ख़ास बढ़त देखने को नहीं मिल रही है। लेकिन भाव में हो रहा ये उत्तार-चढ़ाव एक महत्वपूर्ण विषय बन चुका है, खासकर जब जीरे के भाव 30,000 रुपये प्रति क्विंटल के आसपास पहुंचने की संभावना व्यक्त की जा रही है। तो क्या इस बार जीरा 30,000 रुपये प्रति क्विंटल का आंकड़ा पार कर सकता है? आइए जानते हैं इसके संभावित कारणों और आगामी बाजार स्थिति के बारे में।वर्तमान में मंडियों में जीरे के भाव (Jeera Bhav)Jeera Price Today Rajasthan: किसान साथियों वर्तमान में जीरे के भाव की बात करें तो जीरे के भाव 18000-24500 रूपये/क्विटल चल रहे है। नए साल के सप्ताह की शुरुआत से बीकानेर मंडी में जीरे के भाव (Bikaner Mandi Jeera Bhav) 18000-22600 रूपये/क्विंटल पर स्थिर बने हुए है। वही जोधपुर मंडी की बात करें तो जोधपुर मंडी में जीरे के भाव में अच्छी बढ़त देखने को मिल रही है। जोधपुर मंडी में अच्छी क्वालिटी का जीरा (Jeera Price Today Jodhpur) 24000 रूपये/क्विंटल के भाव से बिक रहा है। इसके साथ ही ऊंझा मंडी में जीरे के भाव (Unjha Market Jeera Price Today) 20155 से 25875 रूपये /क्विंटल चल रहे है।मेड़ता मंडी जीरा भाव : 20000-24251 रुपए प्रति क्विंटलनागौर मंडी जीरा भाव : 19500-22600 रुपए प्रति क्विंटलनोखा मंडी जीरा भाव : 20000-22000 रुपए प्रति क्विंटलबीकानेर मंडी जीरा भाव : 20500-23500 रुपए प्रति क्विंटलउंझा मंडी जीरा भाव :20155-25875 रुपए प्रति क्विंटलजोधपुर मंडी जीरा भाव : 19000-23400 रुपए प्रति क्विंटलNcdex Jeera Price Today : Ncdex जीरे के भाव 40 रूपये प्रति क्विंटल की वृद्धि के साथ 24455 रूपये/क्विंटल चल रहे है।अच्छी गुणवत्ता वाला जीरा हमेशा उन स्थानों से प्राप्त होता है, जहां जीरे का प्रमुख उत्पादन होता है। देश की प्रमुख मंडियाँ जैसे राजस्थान, गुजरात, उत्तर प्रदेश, केरल और महाराष्ट्र में जीरे की बड़ी खपत होती है और यहां से ही उच्च गुणवत्ता वाला जीरा मिलता है। इसके अलावा, अन्य राज्यों में भी जीरे का व्यापार होता है, जहां से भी आप बेहतरीन क्वालिटी का जीरा प्राप्त कर सकते हैं। इन क्षेत्रों में जीरे की खेती के लिए उपयुक्त जलवायु और भूमि होती है, जिससे यहां का जीरा खास और स्वादिष्ट होता है।जीरे की आवक (Arrival Of Cumin)किसान भाइयों मंडोर की प्रमुख मंडियों में इस समय जीरे की आवक में जोरदार वृद्धि देखने को मिल रही है। ग्रामीण क्षेत्रों से जीरे से भरें हुए वाहन लगातार मंडी में आ रहे है। जिससे मंडी का प्रांगण भी छोटा पड़ता जा रहा है। पिछले साल अप्रैल महीने में ही लगभग 88 हजार बोरियों की आवक हुई थी। जिसे भंडारण के लिए मंडी के पास 11 बीघा खाली भूमि का उपयोग किया गया था। इस समय राज्य सरकार इस मुद्दे पर विचार कर रही है।क्या जीरा 30,000 रुपये प्रति क्विंटल पार कर सकता है?किसान साथियों अब सवाल यह है कि क्या जीरे के भाव इस बार 30,000 रुपये प्रति क्विंटल से ऊपर जा सकते है। यह सवाल केवल कीमतों के विश्लेषण से जुड़ा नहीं है, बल्कि इसे कई विभिन्न कारकों से जोड़ा जा सकता है।कृषि उत्पादन और बाजार की स्थिति : जैसे कि पहले उल्लेख किया गया, यदि मौसम अनुकूल नहीं रहता और जीरे की पैदावार में कमी होती है, तो जीरे के भाव में वृद्धि हो सकती है। इसके साथ ही अगर निर्यात की मांग और घरेलू खपत में बढ़ोतरी होती है, तो यह 30,000 रूपये के स्तर को छूने का अवसर प्रदान कर सकता है। हालंकि ये मूल्य स्थिर रह पाएगा या नहीं, यह मौसम की स्थितियों और आने वाले महीनों में उत्पादन पर निर्भर करेगा।सरकारी नीतियाँ और निर्यात प्रतिबंध: यदि सरकार जीरे के निर्यात पर कुछ प्रतिबन्ध लगा देती है, तो इसकी आपूर्ति में और भी कमी हो सकती है। जिससे मूल्य में वृद्धि हो सकती है। हालांकि सरकार द्वारा उठाए गए कदमों को ध्यान में रखते हुए यह कहना कठिन है कि 30000 रूपये के स्तर तक जीरा पहुंच पाएगा या नहीं।वैश्विक बाजार की स्थिति : वैश्विक बाजार में जीरे की मांग में बढ़ोतरी हो रही है। मध्य-पूर्व, अफ्रीका और यूरोप जैसे क्षेत्रों में भारतीय जीरे की बड़ी खपत है। अगर अंतरराष्ट्रीय बाजार में वृद्धि जारी रहती है तो भारत में में जीरे कीमतों में वृद्धि देखने को मिल सकती है। जिससे यह 30000 रूपये के करीब जा सकता है।निष्कर्षइस समय जीरे के भाव में उत्तार-चढ़ाव का मुख्य कारण उत्पादन की कमी मौसम की स्थिती और वैश्विक मांग है। यह संभव है की जीरे के भाव 30000 रूपये प्रति क्विंटल तक पहुंच जाए लेकिन यह पूरी तरह से मौजूदा परिस्थितियों पर निर्भर करेगा। किसानों व्यापारियों और निवेशकों को इन परिस्थितियों का सही अनुमान लगाकर ही आगे की रणनीति बनानी चाहिए। जीरे के बाजार में होने वाली किसी भी बड़ी बढ़ोतरी या गिरावट का असर देश के कृषि और व्यापार पर पड़ सकता है। आज का मंडी भाव कृषि समाचार